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कौन हैं राम प्रसाद चौधरी ? सपा ने क्यों जताया फिर से भरोसा…….

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राम प्रसाद चौधरी को सपा ने बस्ती लोकसभा सीट से अपना उम्मीदवार घोषित कर जताया भरोसा:UP ELECTION 2024

राम प्रसाद चौधरी को सपा ने क्यों दिया बस्ती लोकसभा का टिकट

 

सपा ने बस्ती लोकसभा सीट से राम प्रसाद चौधरी को अपना उम्मीदवार घोषित किया है।

उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी ने लोकसभा चुनाव के लिए पहली सूची जारी करके लोकसभा चुनाव का आगाज कर दिया है। सपा ने बस्ती लोकसभा सीट से राम प्रसाद चौधरी को अपना उम्मीदवार घोषित किया है।

कौन हैं राम प्रसाद चौधरी……….

राम प्रसाद चौधरी कप्तानगंज विधानसभा से 1993 से लेकर 2012 तक पांच बार विधायक रह चुके हैं और यूपी सरकार में कैबिनेट मंत्री भी रहे हैं। राम प्रसाद चौधरी का जन्म 15 नवंबर 1954 को उत्तर प्रदेश के बस्ती जिले के जिगना गांव में माणिक राम प्रसाद चौधरी के घर हुआ था। 1978 में  उन्होंने गवर्नमेंट पॉलिटेक्निक कॉलेज  बस्ती से सिविल और इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा की डिग्री हासिल की।  राम प्रसाद चौधरी की शादी कपूरा देवी से हुई। उनका एक बेटा और दो बेटियां हैं।

राम प्रसाद चौधरी के राजनीतिक जीवन

राम प्रसाद चौधरी के राजनीतिक जीवन का सफर…

राम प्रसाद चौधरी ने जनता पार्टी के सदस्य के रूप में संत कबीर नगर जिले के खलीलाबाद से लोकसभा में सांसद के रूप में करियर की शुरुआत की। 1993 के बाद वह 2017 तक बस्ती जिले के कप्तानगंज विधानसभा क्षेत्र के लगातार पांच बार विधायक रहे। 2017 विधान सभा चुनाव में वे बीजेपी के सी ए चंद्र प्रकाश शुक्ला 6827 मतों के अंतर से हार गए। 2019 के आम चुनाव में वे वह सपा और बसपा महा गठबंधन से उम्मीदवार थे लेकिन वह भाजपा के हरीश द्विवेदी से 30,354 मतों के अंतर से चुनाव हार गए।

बसपा के बड़े नेता माने जाते थे राम प्रसाद चौधरी…

बस्ती का विभाजन होने के बाद मंडल बना तो उन्होंने 2014 में बसपा के टिकट से चुनाव लड़ा, जिसमें वह तीसरे स्थान पर रहे। राम प्रसाद चौधरी का बसपा से बहुत पुराना नाता है और वह कई बार विधानसभा चुनाव बसपा के टिकट से ही लड़े और जीत हासिल की, उन्होंने इससे पहले मायावती कैबिनेट में राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार,  कल्याण सिंह सरकार में कपड़ा और रेशम उद्योग मंत्री और मायावती में खाद्य और नागरिक आपूर्ति मंत्री के रूप में भी कार्य किया। साल 2019 में बसपा ने उन्हें पार्टी विरोधी हरकतों के कारण पार्टी से निष्कासित कर दिया। बसपा सुप्रीमो ने राम प्रसाद चौधरी के साथ तीन पूर्व विधायकों को पार्टी विरोधी हरकतों के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया।

समाजवादी पार्टी ने क्यों जताया भरोसा…

समाजवादी पार्टी से निकालने  के बाद राम प्रसाद चौधरी लखनऊ में समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव की उपस्थिति में अपने कार्यकर्ताओं  के साथ समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए। 2022 विधानसभा चुनाव में अखिलेश यादव ने राम प्रसाद चौधरी को बस्ती की पांचों सीट जिताने की जिम्मेदारी दी, और उन्होंने जिले की पांच में से चार सीटों पर पार्टी प्रत्याशी व समर्थित उम्मीदवार की जीत पक्की करने में अहम भूमिका निभाई। रामप्रसाद चौधरी के इसी जीत के चलते उन्हें पार्टी का राष्ट्रीय सचिव भी बनाया गया है। अब सपा ने उन्हें बस्ती सीट से अपना कैंडिडेट घोषित किया है। राम प्रसाद चौधरी यूपी के बड़े राजनेता माने जाते हैं।

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